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मधुमेह (Diabetes) क्या है?

‘मधुमेह’ (Diabetes) इस बीमारी को आमतौर पर लोग शुगर के नाम से भी जानते है। इस बीमारी में खून में शुगर की मात्रा बढ़ जाती है, यानी शुगर लेवल बढ़ जाता है और यह इतना सामान्य है की किसी भी उम्र के लोगो को हो सकता है। अकेले भारत में ही लगभग 6 करोड़ से ज्यादा लोग इस बीमारी से पीड़ित है।

मधुमेह का कारण क्या है? (Diabetes)

हर स्वस्थ इंसान में इन्सुलिन नामक हार्मोन होता है, जो भोजन को ऊर्जा में बदलने का काम करता है। लेकिन जब कोई मधुमेह (Diabetes) से पीड़ित हो जाता है तो उनके शरीर में प्रयाप्त मात्रा में इन्सुलिन नहीं होते है या उनके शरीर के द्वारा बनाये जाने वाला इन्सुलिन ढंग से काम नहीं करते है। फिर शुगर कोशिकाओं में सम्मिलित न हो खून में घुल जाता है और खून में शुगर की मात्रा बढ़ जाती है, जिसे हम शुगर का लेवल हाई हो जाना भी कहते है।

मधुमेह (Diabetes) कितने प्रकार की होती है?

टाइप 1 मधुमेह (Diabetes)

मधुमेह का यह प्रकार अचानक से बच्चो मे, किशोरावस्था व युवा वयस्क में अचानक ही शुरू हो जाती है, जिसमे शरीर में इन्सुलिन बन ही नहीं पाता है और ऐसे मधुमेह से पीड़ित लोग सम्पूर्ण रूप से इन्सुलिन के इंजेक्शन पर जीवित रहते है।

मधुमेह का यह रूप पीड़ित में पारिवारिक तौर से, विटामिन डी vitamin D कम लेने और बहुत जल्दी बच्चे को गाय का दूध पिलाने से हो सकता है।

टाइप 2 मधुमेह (Diabetes)

मधुमेह का यह प्रकार आमतौर पर वयस्क यानी बड़े लोग जिनकी उम्र 40 या उससे अधिक हो, उनमे ही पाया जाता है। क्योकि उनके शरीर में जो इन्सुलिन का उत्पादन होता है वो शरीर के जरूरत को पूरा नहीं कर पति है। जिस वजह से कोशिकाएं शुगर को ऊर्जा में नहीं बदल पाती है और खून में घुल जाती है।

इस तरह के मधुमेह होने के कई कारक हो सकते है, जैसे – (1) मोटापा, (2) कॉलस्ट्रॉल, (3) सक्रीय न रहना, (4) उच्च रक्त चाप, (5) पारिवारिक इतिहास

Gestational Diabetes

मधुमेह का यह प्रकार गर्वावस्था (pregnancy) के दौरान महिलाओ को हो सकता है, गर्वावस्था (pregnancy) ही इसका मुख्य कारक भी है।

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यदि उन दिनों उनका ठीक से ख्याल न रखा जाए तो और भी जटिलताएं आ सकती है। जैसे खून में शुगर की मात्रा बढ़ जाने के कारण, बच्चे का वजन बढ़ जाना, जिसके वजह से प्रसव के दौरान परेशानी होती है। आमतौर यह मधुमेह प्रसव के बाद महिलाओ में सामान्य हो जाता है लेकिन कभी – कभी कुछ महिलाओ की ये समस्या बानी रह जाती है और आगे भी जीवन में इसका खतरा बना रहता है।

मधुमेह (Diabetes) के लक्षण : आमतौर पर लोगो को इसका पता अचानक से ही चलता है, जब वो कोई खून की जाँच करवाने जाते है, क्योकि शुरुआत में इसके लक्षण का पता नहीं चलता है।

शुगर बढ़ने के लक्षण क्या है?

निचे उन लक्षणों को बताया गया है जो आमतौर पीड़ित महसूस करते है।

  • ज्यादा प्यास लगना
  • बार-बार पेशाब लगना
  • बहुत अधिक भूख लगना
  • जल्दी ही थक जाना
  • चक्कर आना
  • असामान्य रूप से वजन घटना
  • चिड़चिड़ा होना
  • आँखों की रौशनी कम होना
  • ठीक से नींद न आना
  • हाथ व पैर में झनझनाहट या सुन्न होना इत्यादि।

ऐसे करें मधुमेह (Diabetes) की पहचान

मधुमेह (Diabetes) के लक्षण काफी सामान्य होते है। जिससे उसकी पहचान करना कठिन होता है, ऐसे में यदि आपको मधुमेह के लक्षण महसूस हो तो आप शुगर लेवल की जाँच करवा, मधुमेह का सटीक पहचान कर सकते है।

कैसे मधुमेह (Diabetes) से बचाव

मधुमेह (Diabetes) एक ऐसी बीमारी है जिसका होना या न होना काफी हद तक आपके जीवन शैली पर निर्धारित है, यदि आप अपने खान-पान, व्यायाम और स्वास्थ को लेकर जागरूक रहते है तो मधुमेह होने के खतरे से आप बचे रह सकते है।

क्या खाये, क्या न खाये  :- खान-पान का हमारे जीवन पर बहुत असर पड़ता है, ऐसे में अपने खान-पान में मेडिसिनल हल्दी (Medicinal Grade Turmeric) , करेला, जौ, काली मिर्च, सन बीज, लहसुन, ब्लू बेरी और जामुन आदि शामिल करें।

लेकिन ऐसे खाद्य पदार्थो के सेवन से परहेज करें जो कफ बढ़ाने वाला हो, जैसे – घी, दही, चावल, आलू आदि के सेवन से परहेज करना है।

जीवनशैली और आदत में लाएं बदलाव

व्यायाम करे ताकि आप हमेसा एक्टिव रहे, समय से सोये और प्रयाप्त नींद ले, ध्रूमपान और शराब के सेवन से परहेज करें, मोटापा कम करें, तनाव से दूर रहे इत्यादि।

मेडिसिनल हल्दी दूर होगा मधुमेह (Diabetes)

हल्दी प्रकृति में पाए जाने वाला एक पदार्थ है जिसे हम भारतीय खाने में मसाले के रूप में इस्तेमाल करते है। लेकिन मेडिसिनल हल्दी एक ऐसी औषिधि है जिसके सैकड़ो चिकित्सीय गुण है, जो विभिन्न तरह के बीमारियों से आपका बचाव करती है। मधुमेह के इलाज में भी हल्दी काफी उपयोगी है, लेकिन कोई साधारण हल्दी नहीं जो आपको हर जगह बाजार में मिल जाती है

जैविक हल्दी से ही होगा मधुमेह (Diabetes) में फायदा

बगदरा फार्म्स भारत के मध्य में बांधवगढ़ के जंगलो के बीच हल्दी की खेती करता है, और दुनिया के सबसे बेहतरीन क्वालिटी की हल्दी तैयार करते है। हल्दी तैयार करने की उनकी हर प्रक्रिया प्राकृत है, जिसमे करक्यूमिन की मात्रा भी काफी ज्यादा है और यही चीज इस हल्दी को इतना खास बनाता है की यह कोई साधारण हल्दी न रह कर मेडिसिनल हल्दी बन जाता है। जिससे कई तरह के जैविक उत्पाद बनाये जाते है।

जैविक उत्पाद Sugeric क्यों है मधुमेह (Diabetes) में कारगर ?

Sugeric बगदरा फार्म्स के औषिधीय हल्दी से बना आर्गेनिक प्रोडक्ट है, जिसके नियमित सेवन से आपका शुगर लेवल बैलेंस रहता है। आर्गेनिक होने के कारण Sugeric के सेवन से आपके स्वास्थ पर कोई हानिकारक प्रभाव नहीं पड़ता है, बल्कि इसमें मौजूद Anti-Hypoglycemic, Anti-Microbial, Cardio-Protective जैसे चिकित्सीय गुण आपके Diabetes जैसे बीमारी के जड़ पर काम करता है और आपको स्वस्थ रखता है। क्रोनिक डिजीज आपको दवाओं का आदि बना देता है, जिससे छुटकारा पाने के लिए आर्गेनिक (organic) ही एक मात्र विकल्प है।

फ्री अपॉइंटमेंट (Appointment) ले पाए अपने समस्या का समाधान

जानकारी बांटने से बढ़ती है, इसलिए बगदरा फार्म्स हमेसा लोगो को स्वास्थ के प्रति जागरूक रहने में सहायता करता है। आप भी निचे दिए गए फॉर्म को भर बगदरा फार्म्स से अपने समस्या पर बातचीत और उसके इलाज के बेहतर और सही जानकारी जानने के लिए फ्री अपॉइंटमेंट ले सकते है या दिए गए नंबर पर सम्पर्क कर हमारे कंसलटेंट से बात कर सकते है।

We recommend you to take a minimum of 2 months course of Sugeric because it will take some time to start controlling the high blood sugar level.